36th Annual Report (2023-24) - HINDI
82 आईकाड, अिलयाह िव िव ालय के साथ संब सद ो ंने खगोलभौितकी एवं ांडिव ान से संबंिधत िविभ मु ो ंपर काम िकया ह। अ सहकिमयो ंएवं सद ो ंके साथ िमलकर, हमने अरै खकता समीकरण अव था के साथ असामा स म ािधकारी ारा अनुमोदन ा होने के बाद भौितकी िवभाग, अिलयाह िव िव ालय ने 14 िसतंबर 2022 से िनरंतर प से आईकाड के आयोजक के प म काय करने की शु आत की है। िवभाग ने नए सीबीसीएस पा म म सामा सापे ता, खगोल भौितकी, और ांड िव ान के पा म शािमल कर अपने खगोल भौितकी काय म को बढ़ाया ह। यह प रवतन एम.एससी. छा ो ंके सु ख वष 2022-23 के शैि क वष से खगोलभौितकी एवं ांडिव ान म 4-े िडट प रयोजना के साथ ापक 12-े िडक कोस को ु त करता है। ो. मेहेदी कलाम आईकाड का सम यन करते ह, िजसम ो. देबदास बंडोपा ाय ( माननीय अ ागत ोफेसर एवं पूव मुख ए ो- पािटकल िफिज िडिवजन,एसआईएनपी) और डॉ. सजाहन मो ा (आयुका के अ ागत सहकम ), तथा आसपास के सं थानो ंके अ सहकिमयो ंके साथ खगोलभौितकी समूह के अनुसंधान िव ानो ंका सहयोग ा ह। अनुभवी पेशेवरो ंकी सहभािगता एवं आसपास के सं थानो ंके सि य सद अनुसंधान वातावरण को अिधक संप बनाते ह। इस प रवतन के प रणाम प 2022-23 म 17 छा ो ंऔर 2023-24 म 24 छा ो ंका नामांकन आ है, जो इन िवशेष े ो ंम बढ़ती िच को दशाता है। सामा आपेि कता, सै ांितक खगोलभौितकी, संहत िसतारे, अदी पदाथ, गु ाकषण का वैक क िस ांत, वमहोल भौितकी, ांडिव ान आईकाडम िकया गया अनुसंधानकाय (01 अै ल 2023 से 31 माच 2024 तक की गितिविधयाँ) अनुसंधानके े: पदाथ ोत और सापेि क संदभ म संवृत ीतकारी िनगत ांडका िनमाणकरने वाले दो िविभ िवभवो ंके साथ ूनतम यु तआिदश े पर िवचार िकया। हमने डु केबी प ितयाँ एवं एआईएम का उपयोग करके अयॉन-बीटो ािसया ( एबीजी) िनयिमत कृ िववरो ं( िजनके पास अरै खक िवद्युतगितकीय ोत ह) के सामा वत तरीको ंको भी प रकिलत िकया। दोनो ंप ितयो ं ारा प रकिलत ूएनएम के े म के बीच तुलना की गई। हम िवे षण करते ह िक ू एनएम के े म कृ िववर मापदंडो, म ीपोल नंबर एवं ओवरटोन नंबर पर िकस कार िनभर होते ह और यह थािपत करते ह िक आिदश े के िव एबीजी कृ िववर थर होते ह। इसके साथ ही, हमने लूप ांटम कॉ ोलॉजी (एलू सी) के भावकारी प र म पारग थैितक लोरे् िजयन वमहोल का िनमाण िकया, जहाँ बड़े िदक्-काल व ताओ ंम ु त िकए गए पराबगनी सुधारो ंके कारण े समीकरण संशोिधत िकए जाते ह। थर वमहोल का िनमाण कंठ म भौितक पदाथ ारा शू ऊजा अव था (एनईसी) को तोड़े िबना भावी प र म िकया जा सकता है। एलू सी से े समीकरणो ंम सुधारो ंके कारण एनईसी भावशाली प से ित होता है, िजससे कंठ म Weyl व ता िविश ता का िवभेदन होता है। हालाँिक, भौितक पदाथ बलऊजा अव था (एसईसी) को तोड़ता है, िजससे इस रोचक संभावना का संकेत ा होता है िक वमहोल म अदी ऊजा का व थत योग िकया जा सकता है। यूवी-संशोिधत े समीकरणो ं(चचा और चचा म ेनव वमहोल के साथ तुलना।) म अंतिनिहत दाब समदैिशकता की उप थित, इसका संभा ि करण यह है। ांटम अ थरताओ ंसे बचने के िलए अित र आकषक घटक ( एनईसी का उं घन) की आव कता नही ंहोती। कंठ म ारीय पात िभ िदशाओ ंम नही ंजाता और कंठ थर पाया जाता है। वमहोल का वैिश आकषक ािमित है। एलू सी, असामा पदाथ के िबना कृ िववर क एवं वमहोल कंठ म उप थत होने वाली दोनो ंकार की व ता िवशेषताओ ंका िवभेदन कर सकता है। (1 अै ल 2023 से 31 माच 2024 तक की गितिविधयाँ) अ आलेख म, हमने समय की तरह अित र आयाम के साथ ानोव-साहनी ैनव पर पारग वमहोल के िनमाण की संभावना का अे षण िकया है। हम पाते ह िक वमहोलके कंठ मWeyl व ता की िविश ता को NEC ρ + p ≥ 0 को संतु करने वाले भौितक पदाथ के साथ, यहाँ तक िक िकसी भावी Λ -- टम की अनुप थित म अथवा ैन पर िकसी भार ोतके साथ हटाया जा सकता है। (उ आयामी गु ाकषण के भावो ं के कारण उ होने वाले ैन पर भावी पदाथ िववरण ारा एनईसी का उं घन िकया जाता है।) एनईसी के संतुि करण के अलावा, वमहोल का िनमाण करने वाले पदाथ बल ऊजा अव था(SEC), ρ + 3p ≥ 0 को भी संतु करते ह, जो इस रोचक संभावना का कारण बनते ह िक ैन पर थत सामा पदाथ वमहोल म काम म लाए जा सकते ह। संगवश , ये थितयाँ ैन पर ु मणीय झंप और च ीय ांडिव ान को समझने के िलए संतोषजनकभी होनी चािहए, जहाँ अतीत एवं भिव दोनो ंिविश ताओ ंको टाला सकता है। इस कार ैन पर सामा पदाथ से गिठत इस कार के च ीय ांड म ाकृितक प से वमहोल होते ह। समय की तरह अित र आयाम के साथ ैन पर वमहोल आकार का काय वमहोल की निलकाकार संरचना का ितिनिध करता है , जो अंत र की तरह अित र आयाम के साथ ैनव म िनिमत वमहोलो ंसे काफी बेहतर बड़ ि य दू रयो ंपर फैलता है , इसम अ िधक ू नतम मान होने के प रणाम प वमहोल के िनमाण के िलए आव क पदाथ की मा ा को कम िकया जाता है। ानोव-साहनी (एसएस) ैनव म वमहोल के पास भी काफी ूनतम ारीय पात होते ह, जो पारग ता को सुकर बनाते ह। इसके अित र वे थर एवं ितकारक ािमित को दशाते ए पाए जाते ह। आईकाड ारा आयोिजत औपचा रक वातालाप एवंसंगोि याँ डॉ. न मा इ ाम, सहायक अनुसंधान वै ािनक, नासा, गोडाड े स लाइट सटर ीनबे , सम यक: ोफेसर मो. मेहेदी कलाम आईकाड भौितकी िवभाग, अिलयाह िव िव ालय, कोलकाता (01 अै ल 2023 से 31 माच 2024 तक की गितिविधयाँ) खगोलिव ान के अनुसंधान एवं िवकास के िलए आयुका क (आईकाड्स)
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